ब्रेस्टफीडिंग मदर को जरूर खानी चाहिए यह चीजें

क्लू टाइम्स, सुरेन्द्र कुमार गुप्ता 9837117141

breastfeeding mother
एक ब्रेस्टफीडिंग मदर को मांस, मुर्गी, मछली, अंडे, डेयरी, सेम, नट और सीड्स जैसे प्रोटीन रिच फूड्स को प्रति दिन 2-3 बार लें। प्रतिदिन तीन सर्विंग सब्जियां खाएं। इनमें भी आप गहरे हरे और पीले रंग की सब्जियों को मुख्यता से शामिल करें। इसके अलावा, प्रतिदिन दो सर्विंग फल खाएं।

जब एक स्त्री मां बनती है, तो अपने बच्चे को आवश्यक पोषण प्रदान करने की जिम्मेदारी स्त्री की होती है। स्तनपान के जरिए वह अपने बच्चे को सेहतमंद बनाए रखने की कोशिश करती है। हालांकि, इस दौरान महिला को अपनी डाइट का भी उतना ही ख्याल रखना होता है। दरअसल, अगर वह अपने आहार पर फोकस करती है, तो इससे उसका ब्रेस्टमिल्क अधिक बनता है। जिसके कारण वह अपने बच्चे को अच्छी तरह स्तनपान करवा पाती है। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको कुछ ऐसे ही फूड्स के बारे में बता रहे हैं, जिन्हें एक ब्रेस्टफीडिंग मदर को अपनी डाइट में अवश्य शामिल करना चाहिए-

लें प्रोटीन रिच फूड

एक ब्रेस्टफीडिंग मदर को मांस, मुर्गी, मछली, अंडे, डेयरी, सेम, नट और सीड्स जैसे प्रोटीन रिच फूड्स को प्रति दिन 2-3 बार लें।

सब्जियों को बनाएं आहार का हिस्सा

प्रतिदिन तीन सर्विंग सब्जियां खाएं। इनमें भी आप गहरे हरे और पीले रंग की सब्जियों को मुख्यता से शामिल करें। इसके अलावा, प्रतिदिन दो सर्विंग फल खाएं।


होल ग्रेन फूड खाएं

अपने दैनिक आहार में साबुत अनाज जैसे गेहूं की ब्रेड, सेरल्स और दलिया शामिल करें।

पानी की मात्रा पर दें ध्यान

जब बात खान-पान की होती है तो सिर्फ फूड आइटम्स पर ही ध्यान ना दें। बल्कि आप अपने वाटर इनटेक पर भी फोकस करें। कई महिलाओं को स्तनपान के दौरान प्यास लगती है। ऐसे में बॉडी को निर्जलीकरण से बचाने के लिए कम से कम 10-12 गिलास पानी पीएं।

अगर हैं शाकाहारी

अगर आप शाकाहारी हैं और मीट नहीं खाते हैं तो आयरन और जिंक के अन्य स्रोतों जैसे सूखे सेम, सूखे फल, नट, बीज और डेयरी आदि को प्रमुखता से डाइट में शामिल करें। 

लें आवश्यक सप्लीमेंट्स

कई बार सिर्फ खाद्य पदार्थ आपके शरीर की जरूरतों को पूरा नहीं कर पाते हैं। ऐेस में आपको सप्लीमेंट्स लेने पर भी विचार करना चाहिए। मसलन, अगर आप शाकाहारी हैं तो हो सकता है कि आपकी डाइट में विटामिन बी-12 पर्याप्न ना हो। विटामिन बी-12 लगभग विशेष रूप से पशु उत्पादों में पाया जाता है, इसलिए शाकाहारी भोजन में पर्याप्त मात्रा में प्राप्त करना मुश्किल है। वहीं, यदि आप मछली नहीं खाती हैं, तो आप ओमेगा -3 सप्लीमेंट्स लेने के लिए एक्सपर्ट से सलाह लेनी चाहिए। इसी तरह, यदि आप पर्याप्त विटामिन डी-फोर्टिफाइड फूड आइटम्स नहीं लेती है, तो आपको विटामिन डी सप्लीमेंट्स की आवश्यकता हो सकती है। आपके बच्चे को कैल्शियम और फास्फोरस को अवशोषित करने के लिए विटामिन डी की आवश्यकता होती है। बहुत कम विटामिन डी रिकेट्स, हड्डियों के नरम और कमजोर होने का कारण बन सकता है।